Product Details
स्वामी विवेकानन्द के जिन उद्धरणों का इसमें संकलन किया गया है, वे पाठकों को साहस, आशा तथा बल की नई ऊँचाइयों तक उन्नत करती हैं। रवीन्द्रनाथ ठाकुर ने कहा है, ‘‘उनमें (विवेकानन्द) सब कुछ सकारात्मक है, नकारात्मक कुछ भी नहीं।’ यह पुस्तक इसी उक्ति का एक प्रमाण तथा निदर्शन प्रस्तुत करता है।